तेलंगाना में सरकारी स्कूलों में शुरू की गई अंग्रेजी माध्यम नीति सफल रही है। निजी स्कूलों में पढ़ रहे छात्र सरकारी स्कूलों की राह पकड़ रहे हैं। नतीजा यह है कि कई स्कूलों में छात्रों को क्षमता से अधिक प्रवेश दिया जा रहा है। हैदराबाद जिले के विभिन्न स्कूलों में छात्रों की कतारें लग रही है।
इसका जीता जागत प्रमाण है। बोराबंडा नाटको सरकारी स्कूल में 1,100 की क्षमता है। लेकिन 1,850 से अधिक छात्रों को प्रवेश दिया गया है। साथ ही प्रधानाध्यपक पर एडमिशन को लेकर अभिभावकों का दबाव भी बढ़ रहा है। कई नेता दाखिले के लिए सिफारिशें कर रहे हैं। इसके चलते यहां दाखिले जोरों पर चल रहे हैं।
बोराबंडा के नाटको सरकारी स्कूल में 6 से 10वीं कक्षा तक पूरी तरह से अंग्रेजी माध्यम में पढ़ाई होती है। इस स्कूल में करीब 40 शिक्षक कार्यरत हैं। अंग्रेजी माध्यम पृष्ठभूमि वाले डीएससी से सीधे चयनित शिक्षक यहां पढ़ाते हैं।
बोराबंडा नाटको स्कूल में कक्षाएँ पूरी तरह से भर गई हैं और बाकी छात्र गलियारों में बैठकर पाठ सुन रहे हैं। शिक्षकों की संख्या के हिसाब से उस स्कूल में 1100 तक दाखिले की संभावना है। लेकिन स्कूल प्रबंधन ने 2023-24 में अधिकतम 1,850 छात्रों को प्रवेश दिया है।
प्रधानाध्यापक यादगिरी ने बताया कि छठी कक्षा में सबसे ज्यादा 375 लोगों को एडमिशन दिया है। इस स्कूल से 274 छात्रों ने 10वीं कक्षा की परीक्षा दी और 80 फीसदी से अधिक छात्र उत्तीर्ण हुए हैं। 10वीं के नतीजों में उन्हें टॉप ग्रेड में 9.8 अंक मिले हैं। 25 छात्र 9.0 ग्रेड और उससे ऊपर उत्तीर्णता हासिल की है।
इसी क्रममें राजभवन प्रबंधन ने बताया कि 750 तक एडमिशन की संभावना है और सभी सीटें भर चुकी हैं। हैदराबाद डीईओ आर रोहिणी ने कहा कि जिले के 20 और स्कूलों में लगभग 80 से 90 फीसदी दाखिले हो चुके हैं।
खबरें आ रही है कि तेलंगाना के अनेक जिलों में छात्र निजी स्कूल छोड़कर सरकारी स्कूलों में प्रवेश ले रहे हैं। जहां एडिमिशन पूरे हो चुके हैं और स्कूल प्रबंधन प्रवेश देना बंद कर दिया। इसके चलते अभिभावक अपने बच्चों के प्रवेश के लिए स्थानीय नेताओं से सिफारिश लेटर लेकर जा रहे हैं। इसके चलते स्कूल प्रबंधन एडिमिशन की संख्या बढ़ा रहै हैं। जय तेलंगाना। जय जय तेलंगाना।