हैदराबाद (सरिता सुराणा की रिपोर्ट): सूत्रधार साहित्यिक एवं सांस्कृतिक संस्था, भारत हैदराबाद की स्थापना के तीन वर्ष पूर्ण होने पर संस्था द्वारा तृतीय वार्षिकोत्सव समारोह विभिन्न चरणों में आयोजित किया गया। संस्थापिका सरिता सुराणा ने बताया कि तृतीय वार्षिकोत्सव समारोह के अवसर पर सर्वप्रथम अखिल भारतीय बहुभाषी कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। उन्होंने सम्मेलन में आमंत्रित सभी सम्मानित साहित्यकारों और सदस्यों का हार्दिक स्वागत एवं अभिनन्दन किया और हैदराबाद की वरिष्ठ गीतकार श्रीमती विनीता शर्मा जी को कवि सम्मेलन की अध्यक्षता करने हेतु सादर आमंत्रित किया।

उनके साथ-साथ छत्तीसगढ़ के वरिष्ठ गीतकार सत्य प्रसन्न राव मुख्य अतिथि के रूप में, जयपुर, राजस्थान से वरिष्ठ गीतकार और छंदकार गोप कुमार मिश्र, चेन्नई से वरिष्ठ साहित्यकार और अनुवादक डॉ. जमुना कृष्णराज और अंडमान निकोबार द्वीप समूह से वरिष्ठ साहित्यकार एवं रंगमंच कलाकार श्रीमती आशा गुप्ता आशु विशेष अतिथियों के रूप में मंचासीन थे। श्रीमती शुभ्रा मोहन्तो की सरस्वती वन्दना से कार्यक्रम का शुभारम्भ हुआ। तत्पश्चात् सरिता सुराणा ने संस्था का संक्षिप्त परिचय प्रस्तुत किया और उपस्थित सभी विद्वजनों का शब्द पुष्पों से स्वागत किया।

इस बहुभाषी कवि सम्मेलन में देश भर से ख्याति प्राप्त रचनाकार सम्मिलित हुए थे। हैदराबाद से सम्मिलित होने वाले रचनाकारों में श्रीमती भावना पुरोहित ने गुजराती भाषा में, डॉ. सुमन लता ने अंग्रेजी भाषा में, डॉ संगीता शर्मा ने मारवाड़ी भाषा में, श्रीमती किरन सिंह, श्रीमती तृप्ति मिश्रा, श्रीमती हर्षलता दुधोड़िया, श्रीमती अंशु सक्सेना और श्रीमती आर्या झा ने हिन्दी भाषा में शानदार काव्य पाठ किया। श्रीमती सस्मिता नायक ने उड़िया भाषा में, श्री बिनोद गिरि अनोखा ने भोजपुरी भाषा में, श्री दर्शन सिंह ने पंजाबी भाषा में, श्रीमती ज्योति नारायण ने मैथिली भाषा में, डॉ टी श्रीलक्ष्मी ने तेलुगु भाषा में, श्रीमती शुभ्रा मोहन्तो ने बांग्ला भाषा में और श्रीमती सुनीता लुल्ला ने सिन्धी भाषा में काव्य पाठ किया।

कोलकाता से श्रीमती सुशीला चनानी ने मारवाड़ी भाषा में, सिलीगुड़ी से डाॅ बबीता अग्रवाल कंवल ने नेपाली भाषा में, श्रीमती भारती बजाज बिहानी ने हिन्दी में, उदयपुर से श्रीमती उर्मिला पुरोहित ने मारवाड़ी भाषा में, कटक, उड़ीसा से श्रीमती रिमझिम झा ने भोजपुरी भाषा में, महाराष्ट्र से श्रीमती सूरज कुमारी गोस्वामी ने मराठी भाषा में काव्य पाठ किया। श्री गोप कुमार मिश्र ने अवधी और ब्रज भाषा में, डॉ.जमुना कृष्णराज ने तमिल और हिन्दी भाषा में, डॉ. आशा गुप्ता आशु और श्री सत्य प्रसन्न राव ने हिन्दी भाषा में अति उत्तम काव्य पाठ किया। सरिता सुराणा ने मारवाड़ी भाषा में अपनी कविता प्रस्तुत की।

अन्त में विनीता शर्मा जी ने अध्यक्षीय टिप्पणी देते हुए संस्था द्वारा संचालित कार्यक्रमों की और सभी रचनाकारों की रचनाओं की मुक्त कंठ से प्रशंसा की और तृतीय वार्षिकोत्सव समारोह के आयोजन हेतु संस्था को बधाई दी और अपनी रचनाओं का सस्वर पाठ किया। वरिष्ठ कवि सदन कुमार जैन और वरिष्ठ पत्रकार के राजन्ना इस कवि सम्मेलन में उपस्थित थे। प्रथम सत्र का संचालन श्रीमती सुनीता लुल्ला ने और द्वितीय सत्र का संचालन श्रीमती आर्या झा ने किया। श्रीमती ज्योति नारायण के धन्यवाद ज्ञापन के साथ कवि सम्मेलन सम्पन्न हुआ।

इसके अलावा विदेशी भारतीयों के लिए आयोजित प्रवासी भारतीय कवयित्री सम्मेलन में अमेरिका से श्रीमती अन्नदा पाटनी और श्रीमती मंजू श्रीवास्तव, कुवैत सिटी से श्रीमती संगीता चौबे पंखुड़ी, नैरोबी केन्या से श्रीमती सारिका फलोर और दुबई से श्रीमती अनु बाफना ने इस सम्मेलन में विविध विषयों पर आधारित विभिन्न रसों से युक्त रचनाओं के पाठ से समां बांध दिया। इस कवयित्री सम्मेलन में बड़ी संख्या में दर्शक गण उपस्थित थे। सभी ने इस सम्मेलन और संस्था के सभी कार्यक्रमों की मुक्त कंठ से प्रशंसा की। सरिता सुराणा के धन्यवाद ज्ञापन से कार्यक्रम सम्पन्न हुआ।
