हैदराबाद: कोरोना वायरस को लेकर एक बार चिंता के बादल मंडरा रहे हैं। दक्षिण पूर्व एशिया के कई हिस्सों कोरोना के मामले तेजी से बढ़े हैं। कोविड-19 के बढ़ते खतरे और देश में चौथी लहर की आशंका के बीच केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बुधवार को समीक्षा बैठक की है। कोरोना को लेकर स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडवीया की अध्यक्षता में हुई बैठक में कई महत्वपूर्ण फैसले लिए गए हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने चीन में तेजी से बढ़ रहे कोविड-19 के मामलों को लेकर बैठक बुलाई थी। चीन में कोरोना वायरस के मामले एक बार फिर तेजी से बढ़ हैं। स्वास्थ्य मंत्री की अध्यक्षता में बुलाई गई बैठक डेढ़ घंटे तक चली। बैठक में फैसला लिया गया कि कोरोना को लेकर और ज्यादा सतर्कता बरतने की जरूरत है। इसके रोकथाम के लिए ज्यादा से ज्यादा जिनोम सीक्वेंसिंग पर जोर दिया जाएगा। इसके साथ ही कोरोना टेस्ट को भी गंभीरता से लेने के निर्देश दिए गए हैं। संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि ज्यादा से ज्यादा टेस्टिंग किया जाये।
गौरतलब है कि चीन में तेजी से नये मामले सामने आए हैं। चीन में कोरोना संक्रमण के ज्यादातर मामले ओमिक्रोन वैरिएंट के सब-वेरिएंट ‘stealth’ के हैं। कोरोना के बढ़ते मामलों को लेकर चीन ने कई शहरों में लॉकडाउन लगा दिया है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भी कोरोना की चौथी लहर को लेकर चेतावनी दी है।
विश्व स्वस्थ्य संगठन ने सब वैरिएंट को BA-2 का भी नाम दिया गया है। संगठन चेतावनी में कहा गया है कि ये सब-वैरिएंट मूल वैरिएंट से अलग है। इस वैरिएंडट को हल्के में लेना बड़ी भूल साबित हो सकती है। बीए-2 को इसलिए भी चिंताजनक बताया जा रहा है। इसे डिटेक्ट करने में दिक्कतें आ रही हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन के चेताया है कि यह BA-2 वैरिएंट कोविड के मूल वैरिएंट से खतरनाक साबित हो सकता है।
बीए-2 वैरिएंट से संक्रमित मरीजों में चक्कर आना और थकान प्रमुख लक्षण हैं। संक्रमित होने के दो-तीन दिनों में इसके लक्षण दिखने लगते हैं। इसके अलावा बुखार आना, बहुत ज्यादा थकान, खांसी, गले में खराश, मांसपेशियों में ऐंठन भी इसके लक्षण हो सकते हैं। (एजेंसियां)