हैदराबाद: सलाहकार बोर्ड ने गोशामहल भाजपा विधायक टी राजा सिंह के खिलाफ दर्ज पीडी अधिनियम को बरकरार रखा। इस संबंध में बोर्ड ने सरकार को रिपोर्ट सौंप दी है। बोर्ड ने राजा सिंह के खिलाफ दर्ज पीडी एक्ट को रद्द करने की उनकी याचिका को खारिज कर दिया।
पुलिस ने सलाहकार समिति के संज्ञान में लाया है कि राजा सिंह के खिलाफ 101 मामले दर्ज हैं। इनमें से 18 सांप्रदायिक मामले हैं। इसलिए पीडी एक्ट दर्ज किया गया। लेकिन राजा सिंह ने बोर्ड से अपील की कि उनके खिलाफ दर्ज सभी मामलों को खारिज कर दिया जाए। दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद समिति के सदस्य पुलिस की दलील से सहमत हुई। पीडी एक्ट को हटाने की राजा सिंह की अपील को खारिज कर दी गई।
इस बीच, राजा सिंह की पत्नी उषा बाई ने पीडी एक्ट के खिलाफ पहले ही उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटा चुकी हैं। अदालत के ध्यान में लाया गया कि पुलिस ने उसके पति को गिरफ्तार करते समय सुप्रीम कोर्ट और उच्च न्यायालयों द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का पालन नहीं किया। याचिका में कहा गया है कि पीडी एक्ट के तहत उनके पति की गिरफ्तारी से संबंधित दस्तावेज हिंदी में नहीं हैं।
दूसरी ओर उषा बाई ने आरोप लगाया कि हैदराबाद पुलिस ने उसे सलाहकार समिति को लिखित जवाब देने का मौका नहीं दिया। इस संदर्भ में हाईकोर्ट ने तेलंगाना के गृह सचिव और हैदराबाद पुलिस आयुक्त को नोटिस जारी किया। हाई कोर्ट ने इस माह की 28 तारीख तक काउंटर दाखिल करने का आदेश दिया है।