हैदराबाद : आंध्र प्रदेश में नये जिलों की गठन की प्रक्रिया जोरों पर जारी है। मौजूद 13 जिलों को 26 जिले किये जा रहे है। सरकार बुधवार को एक अधिसूचना जारी करेगी। सरकार ने तेलुगु नव वर्ष उगादी के भीतर नये जिलों को लागू करने के लिए आवश्यक कदम उठा रही है।
आपको बता दें कि मुख्यंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने वाईएसआरसीपी की चुनावी घोषणापत्र में कहा था है कि प्रशासनिक सुविधा के लिए और शासन को लोगों के करीब लाने के लिए प्रत्येक लोकसभा क्षेत्र को एक जिला बनाया जाएगा।
योजना विभाग के सचिव विजय कुमार ने कुल 26 जिलों के गठन के प्रस्तावों की रिपोर्ट मुख्य सचिव समीर शर्मा को सौंपी है। मंत्रिमंडल ने नये जिलों के गठन के प्रस्ताव को पहले ही मंजूरी दी है। नये जिलों के गठन का विवरण मंत्रियों को ऑनलाइन भेजकर उनकी स्वीकृति मांगी है। इस बीच सीएस समीर शर्मा ने जिलाधीशों के साथ वीडियो कांफ्रेंसिंग की। नये जिलों के गठन पर विचार प्रतिक्रिया ली है।
नवीनतम प्रस्तावों के अनुसार, वर्तमान जिलों के पुराने नाम ही रहेंगे। जबकि नये जिलों के नाम कुछ जिला केंद्रों पर रखा जाएगा। जबकि अन्य के नाम बालाजी, अल्लूरी सीतारामराजू, अन्नमय्या, एनटीआर और श्री सत्यसाईं बाबा के नाम पर रखा जाएगा।
पता चला है कि सरकार ने तिरुपति जिले के नाम श्री बालाजी बालाजी, विजयवाड़ा जिले के नाम एनटीआर जिला, रायचोटी जिले का नाम अन्नमय्या जिला, पुट्टपर्ती का नाम श्री सत्यसाई जिला और विशाखापट्टणम के पाडेरू केंद्र को अल्लूरी सीतारामराजू जिला प्रस्ताव तैयार किया है। विजयनगरम जिले के पार्वतीपुरम का नाम मान्यम जिला बनाया जाएगा। इसी तरह अमलापुरम को कोनसीमा जिला और नरसरावपेट को पलनाडु जिला किया जाएगा।
इसी क्रम में सरकार ने विधानसभा क्षेत्रों को नये जिले में विलय के लिए कसरत किया है। एक लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र के लिए सात विधानसभा क्षेत्र हो ऐसा कोई प्रावधान नहीं है। फिर भी जिला केंद्रों के पास जो है उसे बदल दिया गया है। चित्तूर संसदीय निर्वाचन क्षेत्र के चंद्रगिरी को तिरुपति के करीब होगा। इसके साथ ही चंद्रगिरि को श्रीबालाजी जिले के अंतर्गत लाया गया। तिरुपति के क्षेत्र के सर्वपल्ली को नेल्लोर जिले में लाया गया है।