हैदराबाद : तेलुगु फिल्म गीतकार सिरीवेन्नेला सीताराम शास्त्री का अंतिम संस्कार समाप्त हो गया है। सिरीवेन्नेला के परिवार के सदस्य, फिल्मी हस्तियां और प्रशंसक जुबली हिल्स स्थित महाप्रस्थान में अंतिम संस्कार में शामिल हुए। अश्रू नयनों से विदाई दी। परिवार के सदस्यों ने परंपरा के अनुसार सिरीवेन्नला का अंतिम संस्कार किया।
इससे पहले फिल्म चैंबर में आज सुबह फिल्म और राजनीतिक हस्तियों ने उनके पार्थिव शरीर को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा कि सिरीवेन्नेला सभी के साथ प्यार से मिलते थे। उनकी कमी को कभी भी पूरा नहीं किया जा सकता है। सिरिवेन्नला ने उत्कृष्ट साहित्य के साथ सच्चाई और यथार्थ के करीब गीत लिखे हैं। सिरीवेन्नेला के पार्थिव शरीर को श्रद्धांजलि देने वाली कई हस्तियों की आंखों से आंसू छलक पड़े।
इसी क्रम में अस्पताल प्रबंधन ने सोमवार को खुलासा किया कि उनका इलाज आईसीयू में एक विशेष मेडिकल टीम की देखरेख में किया जा रहा है। मंगलवार को जब इलाज के दौरान उनकी तबीयत और बिगड़ गई थी। किम्स हॉस्पिटल्स के चेयरमैन बोल्लिनेनी भास्कर राव ने सिरिवेन्नला को दिये गये इलाज और मौत के संभावित कारणों का खुलासा किया।
बोल्लिनेनी ने बताया कि सीताराम शास्त्री पिछले छह साल पहले कैंसर का पता चला था और उनके आधे फेफड़ों को निकाला गया था। इसके बाद उनकी बाईपास सर्जरी हुई। हफ्ते पहले जब एक और फेफड़े को कैंसर हुआ, तो उसका आधा हिस्सा निकाल दिया गया। ऑपरेशन के बाद दो दिनों तक उनका स्वास्थ्य अच्छा था और बाद में जटिलताओं के कारण उन्हें उन्नत उपचार के लिए किम्स में स्थानांतरित कर दिया गया।
उन्होंने बताया, “दो दिन के इलाज के बाद वे ठीक हो गये। ट्रेकियोस्टॉमी भी किया। 45 फीसदी फेफड़ों को हटा दिये जाने के बाद, शेष 55 फीसदी फेफड़े संक्रमित हो गये। इसके चलते ऑक्सीनेशन ठीक नहीं होने के कारण एक्मोमेशन पर रखा गया। पांच दिन तक एक्मोमेशीन पर सिरीवेन्नेला रहे। कैंसर, पोस्ट बायपास सर्जरी और ओबिस पेशंट भी होने के कारण किडनी खराब हो गई और संक्रमण पूरे शरीर में फैल गया। मंगलवार को शाम 4.07 बजे अंतिम सांस ली।”