हैदराबाद: देश का सबसे बड़ा बैंकिंग घोटाला मामला प्रकाश में आया है। इस मामले में एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है। मिली जानकारी के अनुसार, केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने 22,842 करोड़ रुपये के बैंक घोटाले मामले में एबीजी शिपयार्ड के पूर्व सीएमडी ऋषि कमलेश अग्रवाल को गिरफ्तार किया है।
आपको बता दें एबीजी शिपयार्ड घोटाले को देश का सबसे बड़ा बैंकिंग घोटाला बताया जा रहा है। कहा जा रहा है कि एबीजी शिपयार्ड लिमिटेड के चेयरमैन और एमडी ऋषि कमलेश अग्रवाल ने कुछ अन्य लोगों के साथ मिलकर 2012 से 2017 के बीच 28 बैंकों को 22,842 करोड़ रुपये का चूना लगाया। इसके चलते अग्रवाल के खिलाफ साजिश, धोखाधड़ी, विश्वासघात, सत्ता के दुरुपयोग और अन्य अपराधों की आईपीसी और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की शिकायत पर सीबीआई ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की थी। एबीजी शिपयार्ड लिमिटेड की शुरूआत 15 मार्च 1985 को हुई थी। गुजरात के दाहेज और सूरत में एबीजी समूह की एबीजी शिपयार्ड कंपनी पानी के जहाज बनाने और उनकी मरम्मत का काम करती है।
एबीजी ग्रुप इसके प्रमोटर ऋषि अग्रवाल के नेतृत्व में देश की शिप निर्माण इंडस्ट्री में एक बड़ा नाम कमाया था। कंपनी ने पिछले 16 सालों में करीब 165 पानी के जहाज बनाये। इनमें से 46 दूसरे देशों में निर्यात किये गये। कंपनी ने अपनी बेजोड़ क्वालिटी के दम पर लोयड्स, ब्यूरो वैरिटास, अमेरिकन ब्यूरो ऑफ शिपिंग आदि से क्लास अप्रुवल हासिल किये।
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने एर्नेस्ट एंड यंग की सहायता से जनवरी 2019 में फोरेंसिक ऑडिट कराया। इसमें सामने आया कि अप्रैल 2012 से जुलाई 2017 के बीच पांच साल में एबीजी शिपयार्ड लिमिटेड ने देश के इस सबसे बड़े बैंकिंग घोटाले को अंजाम दिया। एसबीआई की ओर से दर्ज कराई गई एफआईआर में बताया गया है कि ऑडिट रिपोर्ट से पता चला कि बैंकों से प्राप्त ऋण से गैरकानूनी लाभ उठाने के लिए इसका गलत उपयोग किया गया।